UPPCS 2021 Result : ऊधम सिंह नगर निवासी चंद्रकांत बगोरिया ने उत्तर प्रदेश लोक सेवा अायोग (UP PSC) की परीक्षा UPPCS 2021 में पांचवीं रैंक हासिल कर जिले के साथ उत्तराखंड का नाम रोशन किया है।
चंद्रकांत ने पहले ही प्रयास में न सिर्फ पासआउट किया बल्कि टॉप टेन सूची में स्थान भी सुनिश्चित किया है। इससे पहले चंद्रकांत संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) की परीक्षा भी दे चुके हैं। जिसमें ने तीन बार इंटरव्यू तक पहुंचे, मगर सफलता न मिलने पर भी उन्होंने प्रयास जारी रखा और यूपीपीसीएस में बाजी मार ली है।
शुरू से ही तय कर लिया था लक्ष्य
रुद्रपुर के गंगापुर रोड स्थित केशरी विहार कालोनी निवासी राजेद्र बगौरिया के बड़े पुत्र चंद्रकांत बगौरिया शुरू से ही सिविल सेवा में जाने का लक्ष्य बनाकर चल रहे थे।
- पिता राजेंद्र बगौरिया अल्मोड़ा के राजकीय इंटर कालेज में शिक्षक व माता भुवनेश्वरी ने उन्हें हमेशा सिविल सर्विस में जाने के लिए प्रेरित किया।
- नानकमत्ता के सरस्वती शिशु मंदिर से स्कूलिंग के समय चंद्रकांत ने पढ़ाई पर जोर देना शुरू कर दिया था।
- इसके बाद उन्होंने वर्ष, 2014 में एसआरएमएस इंस्टीट़्यूट बरेली से बीटेक इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी कर स्नातक की उपाधि ले ली।
- इसके बाद वह वर्ष, 2014 से यूपीएससी के लिए सेल्फ स्टडी करने लगे।
खुद को रखा अपडेट, बैकअप भी तैयार
चंद्रकांत बताते हैँ कि पूरी रणनीति बनाकर रोजाना छह से सात घंटे पढ़ाई करते थे। तीन बार यूपीएससी में इंटरव्यू तक फेस किया। सफलता न मिलने पर भी वे निराश नहीं हुए। बताते हैँ कि उन्होने हमेशा खुद को अपडेट रखा और अपना बैकअप भी तैयार रखा। यूपीपीसीएस 2021 का आवेदन कर यूपीएससी के सिलेबस से मिलान किया तो मैथ्स आदी विषय लगभग समान मिले। जिसके बाद उन्होंने पूरा फोकस इस पर डाल दिया। अंत में बुधवार को मित्र ने यूपीपीसीएस में टॉप करने की सूचना दी।
पढ़ाई और तैयारी दोनों अलग चीजें
चंद्रकांत ने बताया कि उनके छोटे भाई मनोज हाल ही में उत्तराखंड में बीडीओ बने हैं, जबकि बहन ममता ने एमटेक किया है। उन्होंने युवाओं के लिए कहा है कि लक्ष्य बनाएं।
- पढाई और तैयारी दोनों अलग चीजे हैं। अधिक समय नहीं बल्कि रणनीति बनाकर और मन लगाकर पढ़ाई करने से सफलता जरूर मिलेगी।
- इसके अलावा सिर्फ एक चीज पर निर्भर रहने की अपेक्षा एक बैकअप भी तैयार रखें।
- खाली समय में चंद्रकांत को गाने सुनना और मूवी देखना पसंद है।
- इंटरनेट मीडिया पर कम समय बिताते थे।